
पिता के निधन के अगले दिन भी निभाई जिम्मेदारी, 11 बड़े फैसलों के साथ रेलवे सुरक्षा को मिशन मोड में ले जाने की पहल
नई दिल्ली, 9 जुलाई 2025
व्यक्तिगत शोक की कठिन घड़ी में भी कर्तव्य को सर्वोपरि मानते हुए, माननीय रेल मंत्री ने आज टेलीफोन पर एक अत्यंत महत्वपूर्ण सुरक्षा समीक्षा बैठक की। यह समीक्षा भारतीय रेलवे में चल रहे लेवल क्रॉसिंग (LC) गेट सुरक्षा अभियान पर केंद्रित थी, जिसमें 11 अहम निर्णय लिए गए।
रेल मंत्री ने एलसी गेट्स की सुरक्षा को सुदृढ़ करने के लिए मिशन मोड में कार्रवाई के निर्देश दिए। सभी लेवल क्रॉसिंग गेट्स पर सीसीटीवी कैमरों की स्थापना का निर्णय लिया गया है, जिसमें रिकॉर्डिंग सिस्टम, सोलर पैनल, बैटरी बैकअप या यूपीएस के जरिए निरंतर बिजली आपूर्ति सुनिश्चित की जाएगी।
समीक्षा में यह भी तय किया गया कि ‘रोड ट्रैफिक के लिए बंद’ गेट्स को चरणबद्ध तरीके से ‘रोड ट्रैफिक के लिए खुले’ गेट्स में बदला जाएगा। गेट इंटरलॉकिंग की प्रक्रिया को तेज करने के लिए रेलवे की पीएसयू कंपनियों को भी शामिल किया जाएगा।
रेलवे सुरक्षा को और अधिक सुदृढ़ करने के लिए इंटरलॉकिंग की ट्रैफिक व्हीकल यूनिट (TVU) सीमा 20,000 से घटाकर 10,000 कर दी गई है। अब 10,000 TVU से ऊपर वाले सभी गेट्स को इंटरलॉक किया जाएगा, भले ही वहां आरओबी, आरयूबी या एलएचएस की योजना प्रस्तावित हो।
इसके अतिरिक्त, एलएचएस, आरयूबी और आरओबी का निर्माण तेज गति से किया जाएगा ताकि अधिक से अधिक अनसेफ क्रॉसिंग को समाप्त किया जा सके। गैर-इंटरलॉक गेट्स पर वॉयस रिकॉर्डिंग की दैनिक रैंडम जांच (प्रत्येक मंडल में न्यूनतम दो) की जाएगी और सभी गेट्स पर वर्किंग वॉयस लॉगर सिस्टम अनिवार्य किया जाएगा।
सभी एलसी गेट्स पर मानकीकृत स्पीड ब्रेकर और चेतावनी बोर्ड लगाए जाएंगे। उन गेट्स की पहचान की जाएगी जहां जन दबाव या मारपीट की घटनाएं होती हैं, और वहां आरपीएफ या होम गार्ड की तैनाती सुनिश्चित की जाएगी।
रेल मंत्री द्वारा घोषित 15 दिवसीय सुरक्षा निरीक्षण अभियान ब्लॉक सेक्शनों में एलसी गेट्स की जांच और कमियों की पहचान पर केंद्रित रहेगा। यह कदम रेलवे द्वारा यात्रियों और आम जनता की सुरक्षा के प्रति गहरी प्रतिबद्धता को दर्शाता है।