ताइवान में भारत की महिला रिले टीम का गौरवपूर्ण प्रदर्शन, HRDS INDIA की स्नेहा के दमदार प्रयास से हासिल किया स्वर्ण पदक

सुधीक्षा, अभिनया, स्नेहा और नित्या की टीम ने 4×100 मीटर रिले में शानदार प्रदर्शन करते हुए पहला स्थान प्राप्त किया और नया चैंपियनशिप रिकॉर्ड स्थापित किया

7 जून 2025, नई दिल्ली

भारत की महिला 4×100 मीटर रिले टीम ने ताइवान एथलेटिक्स ओपन 2025 में स्वर्ण पदक जीतते हुए नया इतिहास रच दिया। सुधीक्षा, अभिनया राजराजन, एस. एस. स्नेहा और नित्या गांधी की दमदार चौकड़ी ने 44.07 सेकंड में दौड़ पूरी कर चैंपियनशिप रिकॉर्ड बनाया और भारत को शीर्ष स्थान दिलाया।

यह जीत न केवल भारतीय एथलेटिक्स के लिए गर्व का क्षण है, बल्कि HRDS INDIA स्पोर्ट्स अकादमी के लिए भी एक ऐतिहासिक मील का पत्थर है, जो टीम की प्रमुख सदस्य एस. एस. स्नेहा को प्रशिक्षण व सहयोग प्रदान करती है।

इससे पहले, यही टीम (जहां सुधीक्षा की जगह सीनियर धाविका स्रबनी नंदा थीं) कोरिया में एशियन एथलेटिक्स चैंपियनशिप में रजत पदक जीत चुकी है, जिसके दम पर भारत ने टोक्यो में होने वाली विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप 2025 के लिए क्वालीफाई किया।

ताइवान में हुए बदलाव के बावजूद टीम के प्रदर्शन में कोई कमी नहीं आई। चारों धाविकाओं ने बेहतरीन समन्वय, सटीक बैटन पासिंग और अद्वितीय गति के साथ दौड़ पूरी कर एशिया की अन्य मजबूत टीमों को पछाड़ दिया।

HRDS INDIA के निदेशक अजी ने इस ऐतिहासिक उपलब्धि पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा:
“यह स्वर्ण पदक सिर्फ ट्रैक की जीत नहीं, बल्कि उस सपने की जीत है जो अवसर मिलने पर सच्चाई बनता है। स्नेहा आज हजारों ग्रामीण और आदिवासी बेटियों के लिए उम्मीद की किरण बन चुकी हैं।”

यह भी पढ़ें : उत्तराखंड के ‘मंडुवा’ और पारंपरिक अनाजों की ब्रांडिंग जरूरी: केंद्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान

संस्था के आध्यात्मिक मार्गदर्शक गुरु आत्मानंबी जी ने कहा:
“हर पदक व्यक्तिगत नहीं होता, यह सामाजिक बदलाव का प्रतीक होता है। स्नेहा की जीत हर उस बेटी की आवाज़ है जो अपने हालातों को पीछे छोड़कर आगे बढ़ना चाहती है।”

यह HRDS INDIA स्पोर्ट्स अकादमी का पहला अंतरराष्ट्रीय स्वर्ण पदक है, जो इसे भारत के वंचित और हाशिए पर खड़े युवाओं के लिए एक भरोसेमंद खेल मंच के रूप में स्थापित करता है। केरल स्थित यह संस्था विशेष रूप से आदिवासी और आर्थिक रूप से पिछड़े वर्ग के युवाओं को उच्च स्तरीय प्रशिक्षण और संसाधन उपलब्ध कराती है।

जैसे-जैसे विश्व एथलेटिक्स चैंपियनशिप 2025, टोक्यो करीब आ रही है, यह जीत साफ़ संकेत देती है कि भारत की महिला रिले टीम अब विश्व मंच पर चुनौती देने और विजय का परचम लहराने को पूरी तरह तैयार है।

Related Posts

डॉ. के.ए. पॉल ने सुप्रीम कोर्ट से अवैध सट्टेबाजी ऐप मामले में त्वरित सुनवाई की अपील की

1,100 से अधिक सेलिब्रिटीज पर प्रचार में शामिल होने का आरोप; मुआवजा पीड़ित परिवारों को देने की मांग नई दिल्ली: नई दिल्ली में प्रेस को संबोधित करते हुए डॉ. के.ए.…

Continue reading
मक्का पर संग्राम: खेतों से शुरू होती आत्मनिर्भरता की जंग

श्री राम कौंडिन्य द्वारा द पायनियर (22 अक्टूबर 2025) में प्रकाशित लेख “Building a Resilient Maize Economy” में अमेरिका के वाणिज्य सचिव हॉवर्ड लटनिक का उल्लेख किया गया है, जिसमे…

Continue reading

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

You Missed

डॉ. ममता चतुर्वेदी का सम्मान यूनिवर्सिटी ऑफ राजस्थान के डिपार्टमेंट ऑफ फाइन आर्ट्स के स्वर्ण जयंती समारोह में

  • By admin
  • November 2, 2025
  • 27 views
डॉ. ममता चतुर्वेदी का सम्मान यूनिवर्सिटी ऑफ राजस्थान के डिपार्टमेंट ऑफ फाइन आर्ट्स के स्वर्ण जयंती समारोह में

शिक्षा, नवाचार और डिजिटल प्लेटफॉर्म पर एमईआरआई ने दो दिवसीय ICSSR-संगोष्ठी आयोजित की

  • By admin
  • November 1, 2025
  • 25 views
शिक्षा, नवाचार और डिजिटल प्लेटफॉर्म पर एमईआरआई ने दो दिवसीय ICSSR-संगोष्ठी आयोजित की

भारत में डीपिन क्रांति: ब्लॉकचेन से बन रहा है ‘जनता का इंफ्रास्ट्रक्चर’

  • By admin
  • November 1, 2025
  • 25 views
भारत में डीपिन क्रांति: ब्लॉकचेन से बन रहा है ‘जनता का इंफ्रास्ट्रक्चर’

डॉ. के.ए. पॉल ने सुप्रीम कोर्ट से अवैध सट्टेबाजी ऐप मामले में त्वरित सुनवाई की अपील की

  • By admin
  • October 31, 2025
  • 40 views
डॉ. के.ए. पॉल ने सुप्रीम कोर्ट से अवैध सट्टेबाजी ऐप मामले में त्वरित सुनवाई की अपील की

मक्का पर संग्राम: खेतों से शुरू होती आत्मनिर्भरता की जंग

  • By admin
  • October 31, 2025
  • 36 views
मक्का पर संग्राम: खेतों से शुरू होती आत्मनिर्भरता की जंग

भारत और उज्बेकिस्तान विश्वविद्यालयों के बीच पत्रकारिता शिक्षा में सहयोग से खुल रहे नए अवसर

  • By admin
  • October 30, 2025
  • 48 views
भारत और उज्बेकिस्तान विश्वविद्यालयों के बीच पत्रकारिता शिक्षा में सहयोग से खुल रहे नए अवसर